Jay shiree Krishna
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#🌺प्रदीप मिश्रा जी 🙏शिवपुराण कथा🙏🐾🌺💥हर हर महादेव💥★श्री शिवाय नमस्तुभ्यं★जय श्री महाँकाल★ #अंतरराष्ट्रीय कथा वाचक भागवत भूषण श्री पंडित प्रदीप जी मिश्रा सीहोर वाले #🌹पूज्यनीय श्री पंडित प्रदीप मिश्रा।।श्री शिवाय नमस्तुभयम।।🙏 #पंडित प्रदीप मिश्रा महाराज🌹🙏🌹 #प्रदीप मिश्रा
🌺प्रदीप मिश्रा जी 🙏शिवपुराण कथा🙏🐾🌺💥हर हर महादेव💥★श्री शिवाय नमस्तुभ्यं★जय श्री महाँकाल★ - ShareChat
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https://www.youtube.com/live/nAbISD9v3RY?si=x5ahPc5WD8-EZ-ia #🙏शाम की आरती🪔 #🙏 जय मां बगलामुखी #जय मां बगलामुखी🌺🙏 #baglamukhi Mata ji #माँ पीतांबरा बगलामुखी माता नल्खेड़ा 🙏🙏
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https://www.youtube.com/live/ypNLqUz3WEU?si=yCT_bbxyl-YajNo2 #🙏शाम की आरती🪔 #👏🌸श्री सोमनाथ महादेव मंदिर, प्रथम ज्योतिर्लिंग, गुजरात🌸👏 #🕉️🙏जय सोमनाथ महादेव 🕉️🙏 #सोमनाथ महादेव मंदिर गुजरात #श्री सोमनाथ महादेव मंदिर सौराष्ट्र गुजरात
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https://youtube.com/live/eKc3whu62Hs?si=FUHGvwYpMddLxS4Z #🙏शाम की आरती🪔 #🙏🙏जय श्री पशुपतिनाथ🙏🙏 #अष्टमुखी श्री पशुपतिनाथ महादेव मंदिर मंदसौर मध्यप्रदेश #पशुपतिनाथ जी #🌹पशुपतिनाथ🙏दर्शन🌹
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https://youtube.com/live/63LLdfW_ELM?si=r6ShHfwA9Y1lNHYJ #🙏शाम की आरती🪔 #काशी विश्वनाथ #श्री काशी विश्वनाथ मंदिर विश्वनाथ गली, वाराणसी यू० पी० #काशी विश्वनाथ मंदिर घाट वाराणसी #काशी विश्वनाथ मंदिर वाराणसी
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https://www.youtube.com/live/zOUXvz0-dxM?si=g52MN0XjdTRRYf6X #🙏शाम की आरती🪔 #👉🙏📿JAY MAHAKAL📿🙏👈 #महाकालेश्वर #mahakal #mahakaleshwar
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https://youtube.com/live/tIek6BzXY-E?si=jJ5b_sSGgtzqm6b1 #🙏शाम की आरती🪔 #🙏 माँ वैष्णो देवी #मां #ma #maa
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#shree shivay namastubhyam 🙏🙏 #shree Shivay namastubhyam 🕉️🙏 #shree Shivay namastubhyam 🌿🌿🌼 #shree shivay namastubhym #Shree Shivay Namastubhyam 🙏🙏❤️❤️
shree shivay namastubhyam 🙏🙏 - fqங =HH शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तुभ्यम् Rங  H श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्त्ृभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तृूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तभ्यम् शिवाय नमस्तुभ्यम् शिवाय नमस्तुभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तृभ्यम् fqங =HH शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तुभ्यम् Rங  H श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्त्ृभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तृूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तभ्यम् शिवाय नमस्तुभ्यम् शिवाय नमस्तुभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तूभ्यम् श्री शिवाय नमस्तृभ्यम् - ShareChat
#श्रीमद भगवद गीता उपदेश 🙏🙏 #भगवद गीता सार #🙏गीता ज्ञान🛕 #🙏🏻आध्यात्मिकता😇 #🙏गुरु महिमा😇
श्रीमद भगवद गीता उपदेश 🙏🙏 - शुभाशुभफलैरेवं मोक्ष्य से कर्मबंधनैः వగరవేనI सन्न्यासयागमक्तात्मा िमक्ता इस प्रकार जिसमे समॅस्त कर्म मुझँ भगवानँ के अर्पण होते हैं- एसे संन्यासयोग सयुक्त चित्तवाला शुभशुभ फलरूप कर्मेबंधन से मुक्तहो जाएगा और उनर्से मुक्त होकर मुझको ही प्राप्त हगा। ||28|| व्याख्याः इस श्लोक में भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को बताया है कि जो व्यक्ति कर्मों किशुभ और अशुभ फलों से ऊपर उठ जाता है और से मुक्त  कर्मबंधन हाेजाता ह वह संन्यास और योग के माध्यम् से आत्मा को शुद्रकरता हऐसव्यक्तिकी ओत्मा परी तरहसे मोक्ष प्राप्त करॅलिती है और भगवान श्रीकृष्ण के पास पहुँचती বানি यह श्लोक कर्मफल के बंधनों सि मुक्ति की बात करता है। यहां पर भगवान श्रीकृष्ण यह स्पष्ट करॅ रहेहैकि कर्म करनेके बाद मिलने चाले शुभ और अशुभ फल सेनजुड़ना , और अपने कर्मों का फल भगवान का अपित करना , आत्मा को स्वतंत्रता और मोक्ष प्राप्त करने की दिशा मे एक महत्वपूर्ण कदम है। योग और संन्यास के माध्यम सेजब आत्मा पवित्र और निष्कलंक हा जती है तब वह परमात्मा क साथ मिल जती हा यहरश्लोक हमे कर्मोंकफल कोलेकर चितित न हान और भगवान क प्रति समर्पण की शिक्षा देता हा शुभाशुभफलैरेवं मोक्ष्य से कर्मबंधनैः వగరవేనI सन्न्यासयागमक्तात्मा िमक्ता इस प्रकार जिसमे समॅस्त कर्म मुझँ भगवानँ के अर्पण होते हैं- एसे संन्यासयोग सयुक्त चित्तवाला शुभशुभ फलरूप कर्मेबंधन से मुक्तहो जाएगा और उनर्से मुक्त होकर मुझको ही प्राप्त हगा। ||28|| व्याख्याः इस श्लोक में भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को बताया है कि जो व्यक्ति कर्मों किशुभ और अशुभ फलों से ऊपर उठ जाता है और से मुक्त  कर्मबंधन हाेजाता ह वह संन्यास और योग के माध्यम् से आत्मा को शुद्रकरता हऐसव्यक्तिकी ओत्मा परी तरहसे मोक्ष प्राप्त करॅलिती है और भगवान श्रीकृष्ण के पास पहुँचती বানি यह श्लोक कर्मफल के बंधनों सि मुक्ति की बात करता है। यहां पर भगवान श्रीकृष्ण यह स्पष्ट करॅ रहेहैकि कर्म करनेके बाद मिलने चाले शुभ और अशुभ फल सेनजुड़ना , और अपने कर्मों का फल भगवान का अपित करना , आत्मा को स्वतंत्रता और मोक्ष प्राप्त करने की दिशा मे एक महत्वपूर्ण कदम है। योग और संन्यास के माध्यम सेजब आत्मा पवित्र और निष्कलंक हा जती है तब वह परमात्मा क साथ मिल जती हा यहरश्लोक हमे कर्मोंकफल कोलेकर चितित न हान और भगवान क प्रति समर्पण की शिक्षा देता हा - ShareChat
https://www.youtube.com/live/g8SQ7TOvN5k?si=_ePjyPekK-RAazjw #🙏शाम की आरती🪔 #🙏🌺जय बजरंगबली🌺🙏 #🚩सालासर बालाजी 🙏 #सालासर बालाजी दर्शन #SALASAR
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