॥श्री गुरुदेवाय नम:॥
गुरूर्ब्रह्मा गुरूर्विष्णु गुरूर्देवो महेश्वरः।
गुरुः साक्षात् परब्रह्म तस्मै श्री गुरवे नमः॥
ध्यानमूलं गुरोर्मूर्ति: पूजामूलं गुरो: पदम्।
मंत्रमूलं गुरोर्वाक्यं मोक्षमूलं गुरो: कृपा॥
अज्ञान तिमिरांधस्य ज्ञानांजन शलाकया।
चक्षुरुन्मिलितं येन तस्मै श्री गुरवे नम:॥
🌷‼️श्री गुरुदेवाय नमः‼️🌷 #👏भगवान विष्णु की अद्भुत लीला😇
*कौन कहता है मनुष्य खाली हाथ आता है ?*
*मनुष्य भाग्य ले कर आता है और कर्म ले कर जाता है , इसलिए जितना हो सके उतना अच्छे कर्म करे*
❤️🕉️🙏 जय श्री राम 🙏 #👏भगवान विष्णु की अद्भुत लीला😇
*भारत के बहुत से मंदिर रहस्यमयी हैं पर मैंने जिस एक मंदिर के बारे में सुना और देखा वो हैं तिरूपति बालाजी मंदिर 🙏🏼🙏🏼*
*यहां के कुछ रहस्यमय तथ्य हैं—*
1- ऐसा माना जाता है कि यहाँ की मुर्ति पर दिखाई देने वाले सिर के बाल बालाजी के असली बाल हैं !
2- यहाँ की प्रतिमा हमेशा गीली रहती है और ऐसा माना जाता है कि मुर्ति से पसीना निकलता है !!
3-मूर्ति के पास खड़े होकर ध्यान से सुनने पर लगता है कि जैसे कि पीछे पानी बह रहा है जबकि आसपास कोई नदी तालाब , समुद्र नहीं है !!
4- ऐसा माना जाता है की यहां मंदिर में विष्णु भगवान और लक्ष्मी जी दोनों का निवास है इसलिए भगवान के वस्त्रों में धोती और साड़ी दोनों होती है , ऊपर धोती, नीचे साड़ी ! गुरुवार को यहां के पंडित को बालाजी के ह्रदय स्थल पर लक्ष्मी जी का चित्र दिखाई देता है !
5- मंदिर के द्वार पर एक तरफ़ एक छड़ी रखी हुई है और ऐसा माना जाता है कि , बालाजी की बचपन में इस छड़ी से पिटाई हुई थी और इसी की निशानी उनके ढूड्डी पर हैं और इस घाव को भरने के लिये चंदन का लेप लगाया जाता है !!
6- मंदिर से 23 किलोमीटर की दूरी पर एक गांव है जहां गांव वालों के अलावा कोई बाहरी व्यक्ति प्रवेश नहीं कर सकता ,,, मंदिर में चढ़ाया जाने वाला पदार्थ जैसे की फूल, फल, दही, घी, दूध, मक्खन आदि इसी गांव से आते हैं !!
7-सदियों से यहां एक दीपक जल रहा है जो किस ने जलाया वो एक रहस्य है , वो कभी बुझता नहीं है !
8- प्रतिमा पर नियमित कपूर लगाया जाता है और कहा जाता है, जिस पत्थर से ये प्रतिमा बनी है उस पर निरंतर कपूर लगाने से वो पत्थर चटक जाता है , कई बार इस तरह के दूसरो पत्थरों पर परिक्षण किया गया है और वे टूट जाती है परन्तु बालाजी की यह प्रतिमा वैसी ही है !!
9- हमेशा यहाँ बालाजी की , आँखों को चंदन या कस्तूरी से ढंका जाता है, तिरुपति बालाजी की आँखे ढंके होने के पीछे सबसे प्रमुख मान्यता यह है कि तिरुपति बालाजी की मूर्ति की आँखों में इतना तेज, ओज और दिव्य ऊर्जा है कि अगर कोई सीधे उनकी आँखों में देखे, तो वह व्यक्ति उस तेज को सह नहीं सकता !! किसी विशेष उत्सव पर आँखें खोली जाती हैं !
10-नवंबर 1979 को तिरुपति मंदिर में , आधी रात के बाद, भगवान श्रीनिवास के मंदिर में विशाल घंटियाँ मंदिर के दरवाज़े बंद होने के काफी समय बाद बजने लगीं थी इस अभूतपूर्व और अकल्पनीय घटना ने तिरुमाला निवासियों के साथ-साथ आने वाले तीर्थयात्रियों को भी नींद से जगा दिया और सब मंदिर की और भागे !! यह रहस्य आज भी कोई नही जान सका कि आधी रात को घंटियों की आवाज कैसे आई ??
11-तिरुपति बालाजी के मंदिर में भक्त अपने बालों का दान करते हैं और कहा जाता है कि जितने बाल इस मंदिर में दान दिए जाते हैं भगवान उससे 10 गुना ज्यादा दौलत आपको लौटाते हैं !! इच्छा मुराद पूरी होने पर भी भक्त मंदिर में बाल कटवाते हैं !!
इन बालों से विग बनाये जाते हैं ! बालों की नीलामी होती है और मंदिर को हर साल लाखों रूपए प्राप्त होते हैं !
नीलामी से पहले बालों को अलग अलग श्रेणी में वर्गीकृत किया जाता है ,,, उसके बाद लंबाई के आधार पर बालों की 5 श्रेणियां तैयार की जाती है जिसमें 5 इंच से 31 इंच तक के बाल शामिल होते हैं !!! #👏भगवान विष्णु की अद्भुत लीला😇
बजरंगबली तेरा नाम महान, तेरे ही चरणों में सब है कल्याण।जिनके दिल में राम, उन्हें संकट से कौन करेगा परेशान🏹 जय सिया राम 🙏 #हनुमान 🙏